पहाड़ी लड़के की सफलता की कहानी जिसने घोड़े खच्चर हांकते हुए भी अतुल ने,आईआईटी “जैम”पास कर दिखाया..

रिपोर्ट _ कृष्णा रावत डोभाल
घोड़े खच्चर हांकते हुए भी अतुल ने,
आईआईटी “जैम”पास कर दिखाया………….
रुद्रप्रयाग , कहते है जहां चाह, वहां राह जी यह कोई फिल्मी कहानी नहीं है ये एक मुश्किल हालत से जूझते उस बच्चे की कहानी है जिसने अपनी लगन को पहाड़ की उतार चढ़ाव को चढ़ते हुए एक ऐसा मुकाम हासिल किया है जो अच्छे स्कूल अच्छी कोचिंग और सालों की मेहनत से मिलता है जी हां हम बात कर रहे है आईआईटी “जैम” की परीक्षा की जिसको उत्तराखंड के एक पहाड़ी युवा ने खच्चर चलाते हुए पास कर लिया है, आइए अब जानते अतुल कुमार इस सफलता को विस्तार से जो राज्य के कई युवाओं के लिए प्रेरणा बन गए है __
उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग जिले के एक सुदूर गांव बीरों देवल निवासी अतुल कुमार ने आईआईटी “जैम” (संयुक्त प्रवेश परीक्षा मास्टर्स) पास कर आईआईटी मद्रास से एमएससी गणित में पढ़ाई की पात्रता हासिल की है।
खास बात यह है कि अतुल और उसके भाई अपने पिता ओम प्रकाश के साथ यात्रा सीजन पर केदारनाथ में घोड़े खच्चरों से यात्रियों व अन्य सामान को लाते ले जाते हैं।
मई और जून के महीने में जब यात्रा चरम पर होती है, तब दोनों भाई मिलजुल कर पढ़ाई के बीच समय निकालकर पिता का सहयोग करते हैं। पिछले तीन-चार साल से वह ऐसा करते आ रहे हैं। छोटा भाई भी पढ़ाई कर रहा है।
अतुल ने उत्तराखंड बोर्ड की हाई स्कूल व इंटरमीडिएट परीक्षाओं में भी वारियता सूची में स्थान प्राप्त किया था और अभी गढ़वाल केंद्रीय विश्वविद्यालय के श्रीनगर परिसर से बीएससी फाइनल परीक्षा दी है।
इस बीच एमएससी के लिए आईआईटी “जैम” के माध्यम से उसे मद्रास आईआईटी में एमएससी गणित करने का अवसर मिला है। इस राष्ट्रीय स्तर की परीक्षा में उसकी रैंक 649 रही है।
यह एक उदाहरण है कि किस तरह से कठिन परिस्थितियों से जूझते हुए भी लगन और मेहनत से बच्चे मुकाम हासिल करते हैं ……..
साभार _महिपाल नेगी जी, टिहरी