श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए श्री हेमकुंड साहिब के कपार्ट
दर्शन के लिए यात्रियों की संख्या तय ,प्रतिदिन 3,500 श्रद्धालुओं ही कर पाएंगे दर्शन
रिपोर्ट _कृष्णा रावत डोभाल
ऋषिकेश, सिखों के प्रसिद्ध धाम हेमकुंड साहिब के कपाट ठीक ग्रीष्मकाल के लिए खोल दिए गए है। शनिवार को यात्रियों का जत्था घांघरियां से हेमकुंड के लिए रवाना हुआ जत्थे में 2000 से अधिक श्रद्धालु मौजूद थे गौरतलब है कि हेमकुंड साहिब की यात्रा 22 मई को ऋषिकेश से आरंभ हो गई थी ऋषिकेश से यात्रियों के जाते को उत्तराखंड के राज्यपाल गुरमीत सिंह ने रवाना किया था तो वही 24 मई को गोविंदघाट गुरुद्वारा से यात्रियों का जत्था हेमकुंड धाम के लिए रवाना हुआ। 24 तारीख को यात्रियों का पहला जत्था घांघरियां में रुकने के बाद शनिवार को प्रातः काल सुबह 6:30 बजे यात्रियों का जनता पंच प्यारों की अगुवाई में हेमकुंड साहिब पहुंचा। 12:30 बजे पड़ी गई इस साल की पहली अरदास।
हेमकुंड साहिब के कपाट खुलने के बाद सचखंड से गुरु ग्रंथ साहिब को दरबार साहिब में विराजमान किया गया इस दौरान भारतीय सेना के पंजाब बैंड की धुन पर पूरा हेमकुंड साहिब गुंजायमान हो गया। दरबार साहिब में गुरुग्रंथ साहिब के विराजमान होने के बाद सुखमणि साहब का पाठ शब्द कीर्तन प्रारंभ हुआ और उसके बाद अरदास के साथ हुकुम नामा पढा गया।
यात्रा को सुगम और सुरक्षित बनाने के लिए राज्य सरकार और प्रशासन की ओर से यात्रा पड़ावों पर पेयजल, बिजली, स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया कराई गई हैं। हेमकुंड साहिब यात्रा के लिए सुरक्षा के दृष्टिगत शुरुआती दिनों में प्रतिदिन 3,500 श्रद्धालुओं को ही हेमकुंड भेजने की सीमा निर्धारित की गई है।